समाजवादी विचारधारा के पुरोधा, किसान शोषित मजदूर तथा उपेक्षित के शुभ चिंतक, राजनीति के मजे खिलाडी ,गांव की गली से राष्ट्रीय राजनीति तक पहुंचे, संघर्ष के बल पर अलग से जिसे नेताजी के नाम की पहचान मिली, आज मुलायम सिंह दुनिया से अलविदा होकर भी अमर हो गए॥ उनके जीवन से जुड़े कुछ खास कर्तब्यों की यादें:-

IMG 20221010 WA0025

द एण्ड टाइम्स न्यूज-10 अक्टूबर2022
बात उस समय की है जब देश में डा० मनोहर लोहिया समाजवादी आंदोलन के सबसे प्रथम और मजबूत स्तंभ के रूप में उभर कर राष्ट्रीय राजनीति को नई दिशा देने के लिए प्रयत्न शील थे। उस समय जनपद इटावा में भी लोहिया की विचारधारा से प्रेरित होकर समाजवादी आंदोलन की नीति को जन- जन तक पहुंचाने के लिए रैलियां हुआ करती थी। लोहिया के विचारों से प्रभावित होकर नेताजी मुलायम सिंह भी इन रैलियों में शामिल हुआ करते थे। उनकी दिलचस्पी समाजवादी विचारधारा में बढ़ रही थी। इसीलिए बे समाजवाद के लिए समर्पित होते गए। इसी के साथ शिक्षक का दायित्व भी निर्वाह कर रहे थे। वही राजनीति के साथ पहलवानी का शौक भी पूरा करते हुए निरंतर आगे बढ़ने वाले मुलायम सिंह राजनीतिक क्षितिज पर आकर विधायक बन गए। यही से शुरू हुआ उनका राजनैतिक सफर बुलंदियों तक पहुंचा।
विधायक का चुनाव उन्होंने पहली बार साइकिल से क्षेत्र में संपर्क करके कड़ी मेहनत से लड़ा था और उन्हें सफलता भी मिली। उनकी सहायता के लिए गांव के लोग आगे आए ग्रामीणों ने एक दिन का उपवास रखा आनाज की बचत की और उसे बेचकर जो पैसा मिला उससे नेताजी की गाड़ी के लिए ईधन का इंतजाम हुआ । मुलायम सिंह जी ने भी ग्रामीणों का भरोसा नहीं तोड़ा। उन्होंने कृषकों के हितों के लिए सत्ता में पहुंचकर कई कल्याणकारी योजना बनाकर किसान हित में काम करने पर संकोच नहीं दिखाया। बे अपने राजनैतिक रसूख और संघर्ष क्षमता के वल पर उत्तर प्रदेश जैसे प्रांत के तीन बार मुख्यमंत्री बने और केंद्रीय सत्ता में पहुंचकर देश के रक्षा मंत्री बने। रक्षा मंत्री के पद पर रहते हुए उन्होंने सैनिकों के लिए कई कार्य ऐसे किए जो भविष्य में भी याद किए जाएंगे ।

= राजनीतिक सफर का संघर्ष भरा उनका इतिहास=
समाजवादी विचारधारा के नेता दो गुटों में बटे, तो प्रजा सोशलिस्‍ट पार्टी के बाद डॉ. लोहिया ने संयुक्‍त सोशलिस्‍ट पार्टी बना ली थी। मुलायम सिंह यादव उस पार्टी के सक्र‍िय सदस्‍य बन चुके थे। वे क्षेत्र के गरीबों, किसानों की बात करते और उनकी अवाज उठाते। अब सियासत, पढ़ाई और कुश्‍ती, वे तीनों में बराबर समय दे रहे थे। जसवंत नगर में एक कुश्‍ती के दंगल में युवा मुलायम सिंह पर विधायक नत्‍थू सिंह की नजर पड़ी। उन्‍होंने देखा क‍ि मुलायम ने एक पहलवान को पलभर में चित कर दिया। नत्‍थूसिंह उनके मुरीद हो गये और अपना शागिर्द बना लिया।
समय अपनी रफ्तार से चलता रहा। मुलायम सिंह इटावा से बीए की पढ़ाई पूरी करने के बाद बैचलर ऑफ टीचिंग की पढ़ाई पूरी करने के लिए श‍िकोहाबाद चले गये। पढ़ाई पूरी होते ही 1965 में करहल के जैन इंटर कॉलेज में नौकरी लग गयी। मुलायम अब सियासत, मास्‍टरी और पहलवानी, तीनों कर रहे थे। इस बीच वह साल आ गया जब मुलायम सिंह यादव के नेताजी बनने की कहानी शुरू हुई।
= साधन नहीं तो क्या हुआ हिम्मत नहीं हारी =
वर्ष 1967 का विधानसभा चुनाव हो रहा था। मुलायमसिंह के राजनीत‍िक गुरु नत्‍थू सिंह तब जसवंतनगर के विधायक थे। उन्‍होंने अपनी सीट से मुलायम को मैदान में उतारने का फैसला लिया। लोह‍िया से पैरवी की और उनके नाम पर मुहर लग गयी। अब मुलायम सिंह जसवंत नगर विधानसभा सीट से सोशल‍िस्‍ट पार्टी के उम्‍मीदवार थे। तब मुलायम के पास प्रचार के लिए कोई संसाधान नहीं था। ऐसे में उनके दोस्‍त दर्शन सिंह ने उनका साथ दिया। दर्शन सिंह साइकिल चलाते और मुलायम कैरियर पर पीछे बैठकर गांव-गांव जाते। पैसे नहीं थे। ऐसे में दोनों लोगों ने मिलकर एक वोट, एक नोट का नारा दिया। वे चंदे में एक रुपया मांगते और उसे ब्‍याज सहित लौटने का वादा करते। इस बीच चुनाव प्रचार के लिए एक पुरानी अंबेस्‍डर कार खरीदी। गाड़ी तो आ गयी, लेकिन उसके लिए ईंधन यानी तेल की व्‍यवस्‍था कैसे हो। इसके लिए गांव के लोगों ने वृत रखकर बचत की और नामुमकिन को मुमकिन बना दिया जो फिर इतिहास बना।

= यही से शुरू हुआ राजनैतिक सफर फिर मुड़ कर नहीं देखा=
1967 में मुलायम सिंह यादव पहली बार विधायक बने और इसके बाद लगातार संघर्ष के वल पर आगे बढ़ते गए। आपातकाल के बाद जनता पार्टी सरकार में बे उत्तर प्रदेश केबिनेट में सहकारिता मंत्री बने। सहकारिता विभाग में उन्होंने ग्रामीण स्तर पर समितियों के भवन की व्यवस्था के साथ ही कई बड़े फैसले लेकर आंदोलन को मजबूती प्रदान की। इसके बाद 5 दिसंबर 1989 को पहली बार प्रदेश के मुख्यमंत्री बने। अब तक तीन बार वह मुख्यमंत्री और केंद्र में रक्षा मंत्री रह चुके हैं। मुलायम ने अपना राजनीतिक अभियान जसवंत नगर विधानसभा सीट से शुरू किया और सोशलिस्ट पार्टी, प्रजा सोशलिस्ट पार्टी से आगे बढ़े। मंत्री बनने के लिए मुलायम सिंह यादव को 1977 तक का इंतजार करना पड़ा।केन्द्र और उत्‍तर प्रदेश में जनता पार्टी की सरकार बनी और वह राज्य सरकार में मंत्री बनाये गये। बाद में चौधरी चरण सिंह की पार्टी लोकदल के प्रदेश अध्यक्ष बने। 1967, 74, 77, 85, 89 में वह विधानसभा के सदस्य रहे। 1982-85 में विधानपरिषद के सदस्य रहे। आठ बार राज्य विधानसभा में नेता प्रतिपक्ष रहे। 1992 में समजावादी पार्टी का गठन किया। सपा ने देश के सवसे बड़े राज्य पर कई बार राज किया है और उसका अच्छा खासा वोटबैंक भी नेताजी के लिए लड़ने मरने को तैयार रहता है। अपने राजनीतिक जीवन में कई बार ऐसे अवसर भी आए जब नेताजी को कडे फैसले लेने पडे़। तो उन्होंने बगैर देर किए कानून सम्मत फैसले लेकर इतिहास रचा। हमेशा अपने समर्थकों के साथ ही बे विरोधियों तक के लिए पूरी सहजता के साथ मिलते रहे और गांव की गली से निकल कर गरीबों किसानों मजदूरों उपेक्षित तथा शोषितों के लिए समर्पित रहे ।जब भी मौका मिला उन्होंने इन सबके उत्थान तथा शिक्षा स्वास्थ्य जैसी सुविधाओं के लिए योजनाएं बनाकर उन्हें लागू करवाया । जिससे प्रदेश और देश में उपेक्षित वर्ग को काफी राहत मिली। राजनीति के अखाड़े में बड़े-बड़े राजनैतिक धुरंधरों को पटखनी देने में महारत हासिल रहे। राजनीति के दिग्गज खिलाडी नेताजी अंत में समय के चक्र के आगे अपने समर्थकों शुभचिंतकों तथा अनुयायियों को समाजवाद का संदेश देते हुए इस दुनिया को अलविदा कह गए। आज पूरा देश, हर एक दल का नेता शोकातुर हो समाजवादी विचारधारा के प्रणेता नेताजी मुलायम सिंह यादव को श्रद्धांजलि अर्पित कर रहा है ।
ब्यूरो रिपोर्ट= जयपाल सिंह यादव / दानिश खान

अखिल भारतीय उद्योग व्यापार मंडल ने दुख प्रकट करते हुए दी नेताजी को भावभीनी श्रद्धांजलि

Kamalganj News: गंगा नदी में डूबने से हुई बच्चों की मौत पर, परिजनों को सांत्वना देने अपना दल( एस) प्रतिनिधिमंडल पहुंचा उनके गांव

Shamshabad News: भारी बारिश के बीच गिरी मकान की दीवार संयोग से परिवार के सदस्य बाल- बाल बचे

FARRUKHABAD NEWS KAIMGANJ NEWS

KAIMGANJ NEWS धनतेरस पर सजा बाजार उमड़ी भीड़ -बढ़ी रौनक

KAIMGANJ NEWS -बर्तन सोना चांदी मिष्ठान वस्त्र आदि की सजी धजी दुकानों पर ग्राहकों का[...]

FARRUKHABAD NEWS UTTAR PRADESH

Farrukhabad news शहीद जवान की विधवा तथा माता पिता को भेंट की पचास लाख अनुग्रह राशि

Farrukhabad news फर्रुरवाबाद : -29 अक्टूबर024 25.10.2024 को कुलगाम, जम्मू कश्मीर में बैटल एक्सीडेन्ट में[...]

FARRUKHABAD NEWS KAIMGANJ NEWS

KAIMGANJ NEWS दीप सजाओ सहित विभिन्न प्रतियोगियताओं का शिक्षण संस्थान में हुआ आयोजन

शकुन्तला देवी शिक्षण संस्थान कायमगंज में रंगोली, पोस्टर बनाओ एवं दीपक सजाओ प्रतियोगिता का आयोजन[...]

FARRUKHABAD NEWS KAIMGANJ NEWS

KAIMGANJ NEWS शक्ति व युक्ति के महारथी लौह पुरुष सरदार वल्लभ भाई पटेल की मनाई जयंती – किए श्रद्धा सुमन अर्पित

KAIMGANJ NEWS – वक्ताओं ने उन्हें देशी रियासतों का एकीकरण कर संघ का रुप देने[...]

DELHI NEWS

Delhi news दी गई चेतावनी के अनुसार ईरान हमले के जबाव में इसराइल ने फिर बरसाए ईरान पर गोले

Delhi news – जबकि ओआईसी ने इसराइल हमले को अन्तर्राष्ट्रीय कानून का उल्घंन बताया साभार[...]

FARRUKHABAD NEWS KAIMGANJ NEWS

KAIMGANJ NEWS जाम में फसे निजी वाहन में ही दिया प्रसूता ने शिशु को जन्म

KAIMGANJ NEWS- आशा तथा प्रसूता के परिजनों की घोर लापरवाही से समय पर अस्पताल नहीं[...]

FARRUKHABAD NEWS KAIMGANJ NEWS

KAIMGANJ NEWS ब्रेकर से टकराकर फिसली बाइक युवा दुकानदार की हुई दुःखद मौत

KAIMGANJ NEWS कायमगंज / फर्रुखाबाद अपने मां – बाप का सहारा32 बर्षीय युवा बेटे की[...]

FARRUKHABAD NEWS KAIMGANJ NEWS

KAIMGANJ NEWS डाक तार विभाग कर्मचारियों ने ली सत्य निष्ठा की शपथ

KAIMGANJ NEWS कायमगंज /फर्रुखाबाद राष्ट्र तथा देश के नागरिकों के हित में डाकतार विभाग अधिकारियों[...]

ताजा खबर के लिए सब्सक्राइब करें No Yes